रेलवे विभाग ने कम आमदनी का हवाला देकर 4 वर्षो से बंद रखा है आरक्षण काउंटर

भिवंडी

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◼️भिवंडी रोड रेलवे स्टेशन पर दो आरक्षण खिड़की में एक ही चालू,जनता परेशान

◼️परेशानी का सबब बना यात्रियों के लिए टिकट निकालना,खा रहे दर दर की ठोकर

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रिपब्लिक रिपोर्ट

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रेलवे विभाग द्वारा भिवंडी के रेल यात्रियों के साथ जमकर सौतेला व्यवहार किया जा रहा है।कोरोना काल से बंद सभी ट्रेनें पूर्वरत शुरू हो गई है लेकिन भिवंडी रोड रेलवे स्टेशन की जनरल व एक आरक्षण टिकट खिड़की अभी भी बंद है।यहां पर दो में से मात्र एक खिड़की चालू होने के कारण यात्रियों को आरक्षित टिकट के लिए जमकर झमेला झेलना पड़ रहा है।कई दिन टिकट के लिए रात दिन लाइन लगाने के बाद भी यात्रियों को टिकट नसीब नही होता है।जिसके कारण यात्रियों को आरक्षण टिकट के लिए दर दर की ठोकर खानी पड़ रही है।जिसे लेकर यात्रियों में रेलवे प्रशासन के प्रति घोर आक्रोश व्याप्त है।  

 भिवंडी रोड रेलवे स्टेशन सेंट्रल व वेस्टर्न रेलवे को जोड़ने वाली रेलवे लाइन पर स्थित है।यहां पर बडी तादात में यूपी,बिहार सहित अन्य प्रदेशों के लोग रहते है।15 लाख की जनसंख्या वाले शहर के भिवंडी स्टेशन पर रेल विभाग द्वारा दो आरक्षण खिड़की की सुविधा यात्रियों को प्रदान की गई थी।लेकिन वैश्विक महामारी कोरोना की शुरुआत से ही तमाम ट्रेनों के साथ ही आरक्षण केंद्र भी बंद हुआ था।कोरोना का प्रभाव कम होने के बाद धीरे धीरे बंद पड़ी ट्रेनें शुरू हो गई।इसी के साथ ही भिवंडी रोड रेलवे स्टेशन की दो आरक्षण खिड़की में से एक ही आरक्षण खिड़की को शुरू किया गया है।लेकिन चार वर्ष बाद भी रेल विभाग द्वारा आरक्षण खिड़की को नहीं चालू किया गया।उक्त विभाग कम टिकट निकलने का हवाला देकर दूसरी आरक्षण खिड़की को बंद रखा है।

◼️जनता परेशान,रेलवे विभाग को हो रहा भारी नुकसान

 भिवंडी निवासी अशोक दुबे ने बताया कि शहर व आस पास से प्रतिदिन सैकड़ों की तादाद में लोग मुलुक जाने के लिए आरक्षण टिकट निकालने के लिए रेलवे स्टेशन पर आते रहते हैं।लेकिन भिवंडी रोड स्टेशन पर एक ही आरक्षण खिड़की खुली होने के कारण लोगों को आरक्षण टिकट मिलना मुश्किल हो गया है।रात दिन लाइन लगाने के बाद भी भिवंडी में टिकट न मिलने के कारण यात्रियों को कल्याण,ठाणे सहित अन्य शहरों का चक्कर काटना पड़ रहा है।उन्होंने बताया कि यहां पहले नंबर पर भी टिकट नहीं मिल पाता है।इसके अलावा रेलवे अधिकारी व आरपीएफ ने यहां दलाल पाल रखे है।जिसके कारण जनता को यहां से टिकट निकलना काफी मुश्किल हो गया है।

यात्री बढ़ने पर ही खुलेगा बंद काउंटर

भिवंडी रोड रेलवे स्टेशन के चीफ कामर्शियल इंपेक्टर प्रवेश कुमार चौधरी ने बताया कि भिवंडी रेलवे स्टेशन पर एक आरक्षण खिड़की पर प्रतिदिन दोनो शिप्ट को मिलाकर मात्र 120 फार्म आते है।उन्होंने बताया इसके अलावा शहर में चार निजी आरक्षण केंद्र भी शुरू है।सभी को मिलाकर रोजाना 250 से 300 फार्म ही आते है।उनका कहना है रेलवे विभाग आरक्षण फार्म बढ़ाने के लिए प्रयासरत है। फार्म आने की संख्या बढ़ने के बाद ही बंद काउंटर को खोला जाएगा।उन्होंने बताया सभी पांचों आरक्षण खिड़की से महीने में 1.75 करोड़ की आमदनी होती है।जरूरत न होने के कारण खिड़की को नहीं खोला जा रहा है।टिकट निकालने वालों की संख्या में इजाफा होने पर ही दूसरा बंद काउंटर खोला जाएगा।क्योंकि काउंटर ओपन करने पर रेलवे को कर्मचारी भी बढ़ाना पड़ेगा।जो फिलहाल संभव नहीं है।

उत्तर भारतीय समाज सेवा समिति की अतिशीघ्र बंद खिड़की चालू करने की मांग

इधर उत्तरभरतीय समाज सेवा समिति के अध्यक्ष ठाकुर कृष्णगोपाल सिंह ने रेलवे विभाग के इस बयान को बेतुकी बताया है उनका कहना है कि खिड़की के अभाव में यात्री दूसरे शहरों में अथवा दलालों के शरण में जाते है।उन्होंने भिवंडी रोड रेलवे स्टेशन पर बंद पड़े आरक्षण खिड़की को यात्रियों की सुविधा के लिए अविलंब शुरू करने की मांग रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव और रेलवे महाप्रबंधक से की है।उन्होंने चेतावनी दी है कि यदि मांग पर विचार नहीं हुआ तो समाज के लोगो के साथ यात्रियों की सुविधा हेतु रेल रोको आंदोलन किया जाएगा।

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