महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शुक्रवार 7 फरवरी को विधानसभा में कहा कि स्मार्ट मीटर लगाने पर बिजली उपभोक्ताओं को 10 प्रतिशत की छूट दी जाएगी। स्मार्ट मीटर की शुरुआत मोबाइल रिचार्ज की तरह ही बिजली बिल रिचार्ज को सक्षम बनाने के उद्देश्य से की गई थी।

इसका लाभ बिजली उपभोक्ताओं को होगा और बिजली की खपत कम होगी और उन्हें कम बिजली बिल भरना होगा। शिवसेना यूबीटी के विधायक अजय चौधरी ने आज सभागृह में स्मार्ट मीटर से बिजली उपभोक्ताओं को होने वाले नुकसान का मुद्दा उपस्थित किया था। अजय चौधरी ने कहा कि महावितरण कंपनी ने झूठा विज्ञापन दिया है कि वह राज्य में बिजली उपभोक्ताओं के लिए कंपनी के खर्च पर मुफ्त में स्मार्ट मीटर लगाए जाएंगे। अजय चौधरी ने कहा कि स्मार्ट मीटर लगाने के बाद बिजली कंपनियां मनमाना बिल वसूली करेंगी। अब तक जहां भी स्मार्ट मीटर लगे हैं, वहां पहले से ज्यादा बिजली बिल वसूला जा रहा है। इस पर मुख्यमंत्री ने कहा कि स्मार्ट मीटर के संबंध आने वाली शिकायतों का शीघ्र निपटान किया जाएगा। साथ ही राज्य सरकार स्मार्ट मीटर लगाने वाले उपभोक्ताओं को आगामी पांच वर्षों में दस फीसदी छूट देगी।
“क्या है स्मार्ट मीटर”
स्मार्ट मीटर एक इलेक्ट्रॉनिक उपकरण है जो बिजली, गैस, या पानी की खपत को मापता है. यह आपके घर में लगे डिस्प्ले पर खपत की जानकारी दिखाता है. स्मार्ट मीटर, पारंपरिक मीटरों की जगह ले रहा है.
स्मार्ट मीटर के फ़ायदे:
- यह सटीक और अद्यतन खपत डेटा देता है.
- यह ऊर्जा उपयोग की निगरानी और प्रबंधन में मदद करता है.
- यह बिजली क्षेत्र में सुधार के लिए एक महत्वपूर्ण उपकरण है.
- यह वाणिज्यिक नुकसान को कम करता है और राजस्व बढ़ाता है.
स्मार्ट मीटर के बारे में ज़्यादा जानकारी:
- स्मार्ट मीटर में ऊर्जा खपत को बताने के लिए एक सिम लगा होता है.
- यह रेडियो-फ़्रीक्वेंसी तरंगों के ज़रिए जानकारी बिजली प्रदाता को भेजता है.
- यह स्मार्ट ग्रिड अवसंरचना के निर्माण के लिए ज़रूरी है.
- स्मार्ट मीटर, घरेलू, छोटे कारोबार, और वाणिज्यिक ऊर्जा मीटरिंग को बेहतर तरीके से मैनेज करता है.
- स्मार्ट मीटर, ऊर्जा की खपत और दक्षता को बेहतर बनाने में मदद करता है.